ऋषीकेश स्तिथ जयराम आश्रम में बड़ी धूमधाम से गोवेर्धन पूजा का आयोजन किया गया ,जिसमें भगवान श्रीकृष्ण को 56 भोग का प्रसाद चढ़ाया गया , जयराम आश्रम के परमाध्यक्ष ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने कहा कि भगवान कृष्ण ने इन्द्र का घमंड चूर करने के लीये गोवर्धन पर्वत को अपनी तर्ज़नी उंगली पर उठा लिया और इंद्र का घमंड चूर कर प्रकृति और गौ वंश संरक्षण का संदेश दिया तब से अब तक दीपावली के अगले दिन गोवर्धन पूजा को बड़ी धूम धाम से मनाया जाता है। ऋषिकेश के प्रमुख आश्रमों में गो पूजा और भगवान श्रीकृष्ण को ५६ भोग लगाये गये, देश की राजनीती में गाय को लेकर लगातार नए विवाद देखने को मिले ,लेकिन भारतीय परम्परा में गौ का स्थान सर्वोपरि है, यही कारण है कि आज का दिन गौ के लिए विशेष महत्व रखता है।