
ऋषिकेश, 21 मार्च : श्री देव सुमन विश्वविद्यालय परिसर ऋषिकेश के छात्र छात्राओं का दल अपने अध्यापकों के साथ उत्तराखण्ड संस्कृत विश्विद्यालय, हरिद्वार के भ्रमण पर पंहुचा । जिसे प. ल. मो. शर्मा के निदेशक प्रो. एम. एस. रावत जी ने ज्ञान वृद्धि के साथ अनुभव का आधार बताते हुए अपनी शुभकामनाएं प्रेषित की। जबकि योग समन्वयक प्रो. वी. के.गुप्ता योग समन्वयक ने छात्र/छात्राओं को अनुशाशन का निर्देश देते हुए भ्रमण दल को रवाना किया। इस शैक्षणिक भ्रमण में श्रीदेव सुमन परिसर के विभागाध्यक्ष डॉ. जय प्रकाश कँसवाल, विभाग की अध्यापिका डॉ. चंद्रेश्वरी, डॉ. हिमानी नौटियाल, डॉ. बीना रयाल उपस्थिति रहे । इस अवसर पर दोनों विभाग के छात्र-छात्राओं ने संयुक्त रूप से एक संगोष्ठी का आयोजन किया जिसका उद्घाटन योग विज्ञान विभाग के विभगाध्यक्ष डॉ. लक्ष्मी नारायण जोश , डॉ. चंद्रशेखर शर्मा, राजेंद्र नौटियाल, डॉ. जय प्रकाश कंसवाल, डॉ. चंद्रेश्वरी, डॉ. हिमानी नौटियाल, डॉ. बीना रयाल ने दीप प्रज्वलन करके किया।
इस अवसर पर संस्कृत विश्वविद्यालय के योग विभागध्यक्ष डॉ. जोशी ने बताया की योग आज के समाज की आवश्यकता है आज पूरा विश्व योग को चिकित्सा के रूप में देख रहा है इस कारण आज पूरे विश्व में योग बहुत तेजी से शारीरिक, मानसिक ,आध्यात्मिक स्वास्थ्य की उन्नति के लिए किया जा रहा है। आज योग विज्ञान विभाग में योग चिकित्सा हेतु उपलब्ध संसाधनों का अवलोकन करने के लिए श्रीदेव सुमन परिसर के छात्र छात्राएं यहां एकत्रित हुए जिनका बहुत स्वागत अभिनंदन है और उन्होंने बताया कि विभाग के पास नेचुरोपैथी , पंचकर्म ,वैकल्पिक चिकित्सा के सशक्त लैब है। जिसके माध्यम से योग चिकित्सा के उपचारों के लाभों को बढ़ाया जाता है।
इस अवसर पर डॉ. कंसवाल ने कहा विभाग के शैक्षणिक भवन का उद्देश्य एक दूसरे के साथ संबंध बनाना और एक दूसरे के परिसर में उपलब्ध सुविधाओं का उपयोग करना है भविष्य में दोनों विभाग MOU करेंगे और इसी प्रकार से छात्र-छात्राओं में भ्रमण की प्रक्रिया भी चलेगी व ज्ञान अर्जित करेंगे, जिसके लिए विश्वविद्यालय के विभागाध्यक्ष एवं कुलपति, कुलसचिव महोदय का धन्यवाद करते हैं।
इस अवसर पर डॉ. चंद्रशेखर शर्मा, राजेंद्र नौटियाल, डॉ. चंद्रेश्वरी, डॉ. हिमानी नौटियाल, डॉ. बीना रयाल, शोधार्थी दिशांत शर्मा ,शोधार्थी सौरभ शर्मा आदि उपस्थित रहे।